निश्चित रूप से वर्ष 2020 की शुरुआत से सरकार द्वारा एक ओर अर्थव्यवस्था में मांग बढ़ाकर रोजगार के अवसर बढ़ाए जाने होंगे, वहीं दूसरी ओर भारत की नई पीढ़ी को नये दौर के कौशल विकास से प्रशिक्षित करके देश और दुनिया के लिए उपयोगी बनाया जाना होगा। इस परिप्रेक्ष्य में यह उल्लेखनीय है कि हाल ही में सूचना प्रौद्योगिक मंत्रालय पहली बार फ्यूचर स्किल्स प्राइम कार्यक्रम की डगर पर आगे बढ़ा है। इसके तहत केंद्र सरकार ने अगले तीन साल में कृत्रिम मेधा (एआई), ब्लॉकचेन और साइबर सुरक्षा जैसे भविष्य के रोजगार के क्षेत्रों में चार लाख पेशेवरों को कुशल बनाने के लिए 436 करोड़ रुपए खर्च करने की भी घोषणा की है। यदि हम चाहते हैं कि भारत नए वर्ष 2020 की शुरुआत से ही अपनी प्रतिभाओं और अपने कुशल व प्रशिक्षित श्रमबल से देश और दुनिया में आर्थिक व औद्योगिक विकास की नई इबारत लिखे और यदि हम चाहते हैं कि भारतीय प्रतिभाएं देश की मिट्टी को सोना बना दें तो हमें युवाओं को नये दौर के अनुरूप गुणवत्तापूर्ण शिक्षा और कौशल युक्त पेशेवर योग्यता से सुसज्जित करना होगा।
निश्चित रूप से ऐसा होने पर ही अगले एक दशक में भारत देश और विश्व में बड़े पैमाने पर प्रशिक्षित पेशेवर और कौशल प्रशिक्षित युवाओं की चमकीली मानव संसाधन आर्थिक शक्ति वाले देश के रूप में चमकता हुआ दिखाई देगा। यदि हम चाहते हैं कि 2020 में देश में रोजगार की नई संभावनाएं साकार हों तो कृषि विकास, निर्यात वृद्धि, पर्यटन विकास, स्वास्थ्य क्षेत्रों तथा छोटे उद्योगों को अधिकतम सुविधाओं और प्रोत्साहन के साथ आगे बढ़ाया जाए ताकि इन क्षेत्रों में मौजूद बड़े पैमाने पर रोजगार के मौके देश की नई पीढ़ी की मु_ियों में आ सकें।
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भारत की नई पीढ़ी को नये दौर के कौशल विकास से प्रशिक्षित करके देश