गोष्ठी में विचार व्यक्त करते होम्योपैथी चिकित्सक डा. उपेन्द्र मणि त्रिपाठी


अयोध्या। फैंसी महिला प्रशिक्षण संस्थान द्वारा अनीता द्विवेदी के संयोजन में सनातन पर्व होली के पूर्व महिला दिवस के अवसर पर एमएचएल विद्यालय में जागरूकता एवं विचार संगोष्ठी का आयोजन किया गया। संगोष्ठी में मुख्य अतिथि  सीएमएस डूडा गरिमा सरोज ने केक काटकर और अबीर का टीका लगाकर सभी को महिलादिवस की शुभकामनाएँ दी। विशिष्ट अतिथि होम्योपैथी महासंघ के महासचिव डा उपेन्द्रमणि त्रिपाठी ने कहा इस वर्ष महिला दिवस की थीम “महिलाओं को उनके अधिकारों के प्रति जागरूक करना और जेंडर इक्वेलिटी पर बात करना है,जो बिल्कुल भारतीय सनातन संस्कृति की पहचान रही है जिसमें नारी के सहअस्तित्व व समानता का प्रमाण हमारे ऐतिहासिक घर्मग्रन्थों में अर्धनारीश्वर, सीता राम, राधा कृष्ण, गार्गी, अपाला, रानी लक्ष्मीबाई आदि  का वर्णन है।डा त्रिपाठी ने स्वस्थ महिला के राष्ट्रनिर्माण व पिढ़ी निर्माण में भूमिका स्पष्ट करते हुए  “स्वस्थ माता भारत की भाग्यविधाता“ कहा। इसके साथ ही उन्होंने होली में मिलावटी रगों से होने वाले नुकसान, व वर्तमान में कोरोना वायरस की संक्रामकता से संबंधित भ्रांतियों का समाधान करते हुए बचाव के उपायों की जानकारी भी दी।एक महिला द्वारा कोरोना से बचाव के लिएव्हाट्सएप पर बताई जा रही होम्योपैथी की दवा के दावे के बारे में पूछने पर डा उपेन्द्रमणि त्रिपाठी ने स्पष्ट किया होम्योपैथी में दवा का चुनाव व्यक्ति आधारित होता है न कि किसी रोग के नाम से इसलिए किसी दवा का दावा नही किया जा सकता। होम्योपैथी अनुसन्धान परिषद की वैज्ञानिक सलाहकार परिषद ने बैठक में अब तक ज्ञात लक्षणों की समानता के आधार पर होम्योपैथी औषधि के प्रयोग की सलाह पर ही आयुष मंत्रालय ने आर्सेनिक एल्ब 30 दवा के एक खुराक 3 दिन सुबह लेने की एडवायजरी जारी की है, जो व्यक्ति की इम्युनिटी को बढ़ाते हुए फ्लू जैसे या अन्य रेस्पिरेटरी  संक्रमण से बचाव में उपयोगी होता है।  एनआरएलएम की सरिता वर्मा ने कहा रूस में कामगार महिलाओं के आंदोलन , व मताधिकार का अधिकार  देने के बाद संयुक्त राष्ट्र द्वारा 1975 में प्रत्येक वर्ष आठ मार्च को अंतरष्ट्रीय महिला दिवस के रूप में मनाए जाने को मान्यता दी।
सेवा भारती के मंत्री डॉ प्रेमचन्द्र पांडेय ने महिलाओं के शिक्षित व स्वाबलम्बी होने के लिए स्किलडेवलपमेंट को जरूरी बताया। इस दौरान छात्र छात्राओं प्रशिक्षार्थियों द्वारा होली में प्राकृतिक रंगों के प्रयोग की जागरूकता रैली, गीत राधाकृष्ण की झांकी नृत्य, व प्रशिक्षण पर नाटिका आदि प्रस्तुतियाँ बेहद आकर्षक रहीं। अंत मे संयोजिका अनिता द्विवेदी द्वारा सभी का आभार व्यक्त किया गया। इस अवसर पर शिवबक्ष सागर, शाहिदा शकील मेनका सिंह, दीक्षा मझवार, सुमित , काजल, , इंशा खान, पलक, सहित सैकड़ों महिलाएं, व प्रशिक्षार्थी उपस्थित रहे।